
आज के युग में वीडियो गेम बच्चों के लिए सबसे महत्वपूर्ण मनोरंजन का साधन है| इस खेल ने बच्चों के खेल जगत में ऐसी क्रांति ली दी है कि बाज़ारों के मध्य अनेक दुकानों पर इसकी मशीन लगी देखी जा सकती है| सर्वप्रथम इस खेल का प्रदर्शन चीन में हुआ था, परंतु धीरे-धीरे इसकी लोकप्रियता के कारण यह सभी देशों मे खेला जाने लगा है|
इस खेल की कुछ सीमाएं भी है| इसकी सबसे बड़ी सीमा इसका महंगा होना है| इसके उपकरण (मशीनें) इतनी महंगीं होती है कि एक सामान्य परिवार अपने बच्चों के लिए इसकी व्यवस्था नहीं कर सकता| इसकी एक सीमा और भी है| इसके लिए विधुत की व्यवस्था अनिवार्य है, लेकिन हमारे देश के हजारों गांव अब भी विधुत की लाइनों से वंचित है| अतः सभी गांवों में इसे खेला नहीं जा सकता| इसके लिए टेलीविज़न भी अनिवार्य है| इसलिए यह और अधिक खर्चीला बन जाता है| यधपि इसे सस्ता करने के लिए कुछ कंपनियों ने हाथ वाले वीडियो गेम भी बाजार में उतारे है, लेकिन वे अपेक्षाकृत इतने लोकप्रिय नहीं हो पा रहे है|
इस खेल को खेलने की सामग्री
इस खेल से संबंधित सामग्री की लंबी सूची है, जो निम्नलिखित प्रकार है-
- रिमोट
- ऑन-ऑफ तथा कैसेट लगाने का डिब्बा
- की-बोर्ड
- एडेप्टर
- लीड्स
- कैसेट
- गन(बंदूक)
- रिमोट – जिस प्रका से माउस कंप्यूटर का सर्वाधिक महत्वपूर्ण उपकरण है| उसी प्रकार से रिमोट वीडियो गेम का महत्वपूर्ण उपकरण है| वीडियो गेम के अधिकांश खेल रिमोट से ही खेले जाते है| वीडियो गेम मे क्योकि एक साथ दो खिलाड़ी खेल सकते है, अतः इसके साथ दो रिमोट होते है| रिमोट पर आगे-पीछे करने के, कुदाने के, स्टार्ट करने के बटन होते है| इनकी सहायता से ही गेम खेला जाता है| यह तार द्वारा ऑन-ऑफ बॉक्स से जुड़ा रहता है|
- ऑन-ऑफ तथा कैसेट लगाने का डिब्बा – यह इस खेल का दूसरा महत्वपूर्ण भाग है| यह अधिकांशतः चौकोर आकृति का होता है| इस पर दोनों ओर दो बटन लगे रहते है, जिनमे एक ऑन-ऑफ का होता है तथा दूसरा बटन रीसेट का होता है| ऑन-ऑफ बटन से चालू या बंद किया जाता है तथा रीसेट से सम्पूर्ण खेलों की सूची देखी जाती है| ऑन-ऑफ तथा रीसेट बटन के बीच एक पट्टी होती है, जिसके द्वारा कैसेट बाहर निकाला जाता है तथा पट्टी के पीछे कैसेट लगाने का स्थान बना रहता है| इसके पीछे दो छेद होते है, जिसमे बॉक्स में से एक मे एडेप्टर लगाया जाता है तथा दूसरे में लीड|
- की-बोर्ड – यह की-बोर्ड वही होता है, जो कंप्यूटर में भी प्रयोग किया जाता है| जिस प्रकार उसमे एफ1 से एफ12 तक की फंक्शन कीज होती है, 1 से 9 तक अंको की कीज, A से Z तक अक्षरों की कीज तथा बैक स्पेस इत्यादि चींजे होती है, इसमे भी वे सभी कीज होती है तथा इसका प्रयोग टाइपिंग, गेम्स, आवाज वाले गेम्स इत्यादि के लिए मुख्य रूप से किया जाता है|
- एडेप्टर – यह ठीक मोबाइल के चार्जर के समान होता है| इसके द्वारा वीडियो गेम के ऑन-ऑफ तथा कैसेट बॉक्स में विधुत का संचालन होता है|
- लीड – वीडियो गेम के उपकरण को टेलीविज़न से जोड़ने का कार्य जिस तार द्वारा किया जाता है, उसे लीड कहते है| इसका एक सिरा वीडियो गेम के ऑन-ऑफ और कैसेट बॉक्स से तथा दूसरा टेलीविज़न से जोड़ा जाता है|
- कैसेट – जिस प्रकार कंप्यूटर में फ्लॉपी तथा सी.डी. का प्रयोग किया जाता है, उसी प्रकार से इसमे खेल की कैसेट का प्रयोग किया जाता है| इसे ऑन-ऑफ व कैसेट बॉक्स में लगाया जाता है| प्रारम्भ में टेलीविज़न के पर्दे पर खेलों की सूची दिखाई देने लगती है| खिलाड़ी जो भी खेल चुनना चाहता है, रिमोट से उसका चयन कर सकता है|
- गन(बंदूक) – कोई-कोई गेम शूटिंग से संबंधित होता है| जैसे डक हंट, क्ले शूट आदि| इसे खेलने के लिए गन का प्रयोग किया जाता है| यह गन रिमोट की भांति ऑन-ऑफ व कैसेट बॉक्स से ही जोड़ी जाती है|
खेलने का तरीका How to Play Video Games ?
सर्वप्रथम एडेप्टर तथा लीड द्वारा ऑन-ऑफ बॉक्स तथा टेलीविज़न को जोड़ा जाता है| तत्पश्चात टेलीविज़न के तार तथा एडेप्टर को विधुत-बोर्ड मे लगा दिया जाता है| जैसे ही टी. वी. के पर्दे पर खेलों की सूची आना शुरू हो जाती है, रिमोट को ऑन-ऑफ बॉक्स में लगाकर रिमोट के द्वारा जो भी खेल खेलना हो चयन कर लेते है, फिर उस गेम को आवश्यकता के अनुसार रिमोट, गन या की-बोर्ड द्वारा खेला जाता है|
वीडियो गेम के प्रकार Types of Video Games
मुख्य वीडियो गेम तीन प्रकार के होते है-
- हाथ वाला वीडियो गेम
- टेलीविज़न वाला वीडियो गेम
- मशीन वाला वीडियो गेम
- हाथ वाला वीडियो गेम – इसकी सबसे बड़ी विशेषता यह है कि आकार में छोटा होता है और सस्ता भी होता है| यह आयताकार और टेलीविज़न के रिमोट के लगभग समान होता है| यात्रा आदि में इसे आसानी से प्रयोग किया जाता है| इसमे ऊपर एक पर्दा लगा होता है, जिसमे खेलों की सूची तथा खेल दिखाई देते है और नीचे दाएं-बाएं ऊपर-नीचे कुदाने तथा बैठाने के बटन लगे होते है| जंहा इसकी कुछ विशेषताएं है, वंहा कुछ सीमाएं भी है| इसमे गेम संख्या तो कम होती है| चित्र उतने आकर्षक नहीं होते| यह सेल द्वारा चलता है, अतः जंहा विधुत की व्यवस्था नहीं होती वंहा इसका प्रयोग किया जा सकता है|
- टेलीविज़न वाला वीडियो गेम – आजकल इस वीडियो गेमों का ही ज्यादा प्रचलन है| इनके चित्र आकर्षक होते है और यह जल्दी से खराब भी नहीं होता| इसमे गेमों की संख्या बहुत अधिक होती है| नई कैसेट खरीदकर इसमे मन चाहें गेम लगाए जा सकते है| यह टेलीविज़न की सहायता से चलता है|
- मशीन वाला वीडियो गेम – इस प्रकार का वीडियो गेम दुकानों पर देखने को मिलता है| यह व्यवसाय की द्रष्टि से दुकानों पर रखे जाते है और उस गली-मोहल्ले के बच्चे मामूली-सा शुल्क देकर कुछ देर तक उससे खेल लेते है| इसे रिमोट तथा टेलीविज़न की आवश्यकता नहीं होती| इसमे सामने की ओर एक पर्दा लगा होता है तथा खेलने के लिए एक हैंडल तथा बटन लगे होते है| पर्दे पर खेल के चित्र आते है तथा बच्चे हैंडल व बटन द्वारा खेलते है| यह आकार में बहुत बड़ा तथा वजन में भारी होता है, अतः यह घरों में देखने के लिए उपयुक्त नहीं है|
सावधानियाँ
इलेक्ट्रोनिक उपकरणो के प्रयोग में बच्चों को कुछ सावधानी रखनी पड़ती है और वीडियो गेम जैसे उपकरणो में तो कुछ और अधिक सावधानी की आवश्यकता पड़ती है| बच्चो को अभिभावकों द्वारा निम्नलिखित बातों से अवगत करना चाहिए-
1. | इसे खेलते समय टेलीविज़न से कुछ दूरी बनाए रखना चाहिए अन्यथा आँखों में दर्द होने लगता है| टेलीविज़न के पर्दे से लगातार खेल के समय कुछ ऐसी किरणें निकलती रहती है, जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है| कुछ दूरी पर उनका प्रभाव कम हो जाता है| |
2. | खेलते समय बीच-बीच में पलकें झपकाते रहना चाहिए| |
3. | वीडियो गेम लगातार कई घंटों तक नहीं खेलना चाहिए| बीच-बीच में आराम कर लेना चाहिए| |
4. | खेल देखते समय कमर झुकाकर नहीं बैठना चाहिए अन्यथा कमर में दर्द रहने लगता है| सदैव सीधा बैठना चाहिए| |
5. | खेलते समय कमरे में प्रकाश की उचित व्यवस्था होनी चाहिए| |
6. | वीडियो गेम खेलते समय आवाज धीमी रखनी चाहिए| |
7. | यदि आँखों में दर्द होने लगे, तो तुरंत गेम बंद कर देना चाहिए| |